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गुरु के बिना मोक्ष संभव है या नहीं

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 गुरु के बिना मोक्ष संभव है या नहीं www.Jagatgururampalji.org कबीर, गुरू बिन माला फेरते, गुरू बिन देते दान। गुरू बिन दोंनो निष्फल है, पूछो वेद पुराण।। कबीर, राम कृष्ण से कौन बड़ा, उन्हों भी गुरू कीन्ह। तीन लोक के वे धनी, गुरू आगे आधीन।। कबीर, राम कृष्ण बड़े तिन्हूं पुर राजा। तिन गुरू बन्द कीन्ह निज काजा।। भावार्थ: - गुरू धारण किए बिना यदि नाम जाप की माला फिराते हंै और दान देते हैं, वे दोनों व्यर्थ हैं। यदि आप जी को संदेह हो तो अपने वेदों तथा पुराणों में प्रमाण देखें। श्रीमद् भगवत गीता चारों वेदों का सारांश है। गीता अध्याय 2 श्लोक 7 में अर्जुन ने कहा कि हे श्री कृष्ण! मैं आपका शिष्य हूँ, आपकी शरण में हूँ। गीता अध्याय 4 श्लोक 3 में श्री कृष्ण जी में प्रवेश करके काल ब्रह्म ने अर्जुन से कहा कि तू मेरा भक्त है। पुराणों में प्रमाण है कि श्री रामचन्द्र जी ने ऋषि वशिष्ठ जी से नाम दीक्षा ली थी और अपने घर व राज-काज में गुरू वशिष्ठ जी की आज्ञा लेकर कार्य करते थे। श्री कृष्ण जी ने ऋषि संदीपनि जी से अक्षर ज्ञान प्राप्त किया तथा श्री कृष्ण जी के आध्यात्मिक गुरू श्री दुर्वासा

शिवरात्रि के व्रत करने के क्या लाभ हैं

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होम     फोटो     mahashivratri vrat 2020 know spiritual benefits of this vrat Maha Shivratri Vrat 2020: महाशिवरात्रि व्रत से मिलता है यह लाभ, भूख लगे तो क्या करें.. Published By:  gitika dubey | नवभारतटाइम्स.कॉम  -   Updated: Feb 21, 2020 07:56 am IST     Maha Shivratri Vrat 2020 महाशिवरात्रि व्रत अध्‍यात्‍म से जुड़े लोगों के लिए अलग-अलग मायने रखता है। यह व्रत सांसारिक सुख-भोग की महत्‍वाकांक्षा रखने वाले और गृहस्‍थ जीवन बिताने वाले सभी के लिए महत्‍वपूर्ण माना जाता है। गृहस्‍थ आश्रम के लोग महाशिवरात्रि के व्रत को भगवान शिव और माता पार्वती की वैवाहिक वर्षगांठ के रूप में मनाते हैं। वहीं सिद्ध साधना करने वाले इसे शत्रु पर जीत के रूप में देखते हैं। संतों और नागाओं के लिए शिवजी प्रथम गुरु और आदि गुरु हैं। महाशिवरात्रि का व्रत शिवभक्‍त अपने-अपने तरीके से रखते हैं। आइए जानते हैं व्रत के लाभ और व्रत के आहार जुड़ी ये बातें… 1 कुंवारी कन्‍याओं के लिए व्रत के लाभ इस व्रत को सभी नर-नारी रख सकते हैं। कहा जाता है कि भोलनाथ जैसे वर की चाह में कुंवारी कन्याएं व्रत रखती हैं